पर्युषण के प्रतिक्रमण में बोली जाने वाली सज्झाय और थुई - कौनसे दिन क्या बोलें, साथ ही किस दिन कौनसी आराधना की जानी चाहिए
जानिए कैसे साध्वी सुनंदा ने दुःख भोग रहे और जन्म-मरण के चक्र में फँसे हुए हाथी (रुपसेन) का उद्धार किया ।
किसने तीन लाख श्लोक अपनी माता को अर्पण किए? किस साध्वी के कालधर्म पर श्रावकों ने तीन करोड़ का सद्व्यय किया? जानने के लिए पढ़िए
क्या हुआ जब एक रूपवान राजकुमारी ने एक आचार्य के समक्ष विवाह का प्रस्ताव रखा?